क्या है Digital Rupee, क्या हैं इसके फायदे 

0
7
What-is-Digital-Rupee

What is Digital Rupees : अब तक आपने क्रिप्टो करेंसी के नाम ही सुना होगा या इस्तेमाल किया होगा। लेकिन अब भारत में नए तरह का रुपया चलने वाला है. भारत ने अमेरिका, ब्रिटेन, चीन जैसे देशों से आगे निकलते हुए अपनी डिजिटल करंसी की शुरूआत भारत में कर दी है। अब आपके मन में सवाल चलता होगा कि क्या है Digital Rupee (What is Digital Rupees) और हम इसे कैसे इस्तेमाल कर सकते हैं (How can use Digital Rupees)? तो चलिए जानते हैं कि Digital Rupees क्या है और इसे कौन इस्तेमाल कर सकते हैं और कैसे ?

भारतीय रिजर्व बैंक ने डिजिटल रूपये को लांच किया (RBI Digital Rupees launch)

RBI Digital Rupees launch : भारतीय रिजर्व बैंक ने डिजिटल रूपये को 1 दिसंबर को लांच कर दिया है।  पहले  Digital Rupees या e-rupee को आठ बैंकों के जरिए शुरू किया जाएगा.  पहले चरण में इसे  चार शहरों मुंबई, नई दिल्ली, बेंगलुरु और भुवनेश्वर में लेन-देन के लिए उपलब्ध होगा। और उसके बाद अहमदाबाद, गंगटोक, गुवाहाटी, हैदराबाद, इंदौर, कोच्चि, लखनऊ, पटना और शिमला में इसका इस्तेमाल किया जा सकेगा। आरबीआई ने e-rupee को फिलहाल पॉयलट प्रोजेक्ट के रूप में लांच किया है। और इस दौरान डिजिटल rupee क्रिएशन, डिस्ट्रीब्यूशन और रिटेल में इस्तेमाल की पूरी प्रोसेस को बारीकी से परखा जाएगा। और इसके बाद e-rupee को पूरे देश में लांच किया जा सकेगा।

 

डिजिटल रुपये क्या है? (What is Digital Rupees)

असल में Digital Rupees या e-rupee करंसी का डिजिटल रूप है। जो ब्लॉकचेन टेक्नोलॉजी पर काम करती है। e-rupee को मोबाइल वॉलेट में रखा जा सकेगा। भारत ने अमेरिका, ब्रिटेन, चीन जैसे देशों से आगे निकलते हुए अपनी डिजिटल करंसी की शुरूआत भारत में कर दी है। असल में  e-rupee करंसी का डिजिटल रूप है। जो ब्लॉकचेन टेक्नोलॉजी पर काम करती है। इसकी वैल्यू भी मौजूदा करंसी के बराबर ही होगी। इसको भी फिजिकल करंसी की तरह ही इस्तेमाल किया जाएगा। e-rupee को मोबाइल वॉलेट में रखा जा सकेगा। साथ ही इसे रखने के लिए बैंक खाते की जरूरत नहीं होगी। इसे CBDC होलसेल और CBDC रिटेल के रूप में इस्तेमाल किया जाएगा।

सीबीडीसी है (What is CBDC) ?
  • यह RBI (Reserve Bank of India) द्वारा डिजिटल रूप में जारी किया गया एक लीगल टेंडर है। यह फिएट करेंसी (एक तरह का रुपया) के समान है और फिएट करेंसी के साथ बदल सकते हैं।
  • ई-रुपया केंद्रीय बैंक पर दावे का प्रतिनिधित्व करने वाले डिजिटल टोकन के रूप में होगा और एक बैंक नोट के डिजिटल समतुल्य के रूप में प्रभावी रूप से कार्य करेगा जिसे इलेक्ट्रॉनिक रूप से एक धारक से दूसरे धारक में स्थानांतरित किया जा सकता है।
  • उपयोग और डिजिटल रुपये द्वारा किए गए कार्यों के आधार पर, और पहुंच के विभिन्न स्तरों पर विचार करते हुए, आरबीआई ने डिजिटल रुपये को दो श्रेणियों में विभाजित किया है:
  • CBDC रिटेल : यह मुख्य रूप से खुदरा लेनदेन के लिए नकद का एक इलेक्ट्रॉनिक संस्करण है, जिसका संभावित रूप से लगभग सभी द्वारा उपयोग किया जा सकता है, और भुगतान और निपटान के लिए सुरक्षित धन तक पहुंच प्रदान कर सकता है।
  • CBDC होलसेल : इसे चुनिंदा वित्तीय संस्थानों तक सीमित पहुंच के लिए डिजाइन किया गया है।
  • सरकारी प्रतिभूतियों (जी-सेक) और इंटरबैंक लेनदेन से जुड़े वित्तीय लेनदेन को इस तकनीक से बदला जा सकता है।
  • यह परिचालन लागत, संपार्श्विक के उपयोग और तरलता प्रबंधन के संदर्भ में पूंजी बाजार को अधिक कुशल और सुरक्षित बनाता है।
किन बैंको में पायलट प्रोजेक्ट शुरू होगा ?

e-rupee को कनवर्ट नहीं किया जा सकेगा। रिटेल के पायलट प्रोजेक्ट के लिए SBI, ICICI, यस बैंक और IDFC फर्स्ट बैंक से इसकी शुरूआत हो रही है। इसके बाद बैंक ऑफ बड़ौदा, यूनियन बैंक, HDFC बैंक और कोटक महिंद्रा बैंक को पायलट प्रोजेक्ट शामिल किया जाएगा।

आम रुपये के बराबर होगा Digital Rupee

E-rupee or Digital Rupee लीगल टेंडर होगा , ऐसे में इसकी वैल्यू दूसरी क्रिप्टो करंसी जैसे उपर-नीचे नहीं होंगी। यानी क्रिप्टो करंसी जैसा इससे मुनाफा नहीं कमाया जा सकेगा। आसान भाषा में कहें तो अगर भारत में आप के पास 100 रुपये का नोट है तो उसकी वैल्यू 100 रुपये ही रहती है। इसी तरह डिजिटल करंसी की भी वैल्यू होगी। और जैसे दुनिया के विभिन्न करंसी की तुलना में रुपये की वैल्यू होती है। ऐसा ही डिजिटल करंसी के साथ भी होगा।

Digital Rupee से क्या फायदा होगा?

डिजिटल करंसी से फायदा : अगर इसके फायदे की बात करें तो बहुत सारे फायदे होंगे. आइये जानते डिजिटल करंसी से हमें क्या-क्या फायदा मिलेगा और इससे बैंक को क्या फायदा होगा.

  1. रुपये के लेन-देने यानी ट्रांजैक्शन लागत घट जाएगी। इससे रूपये को छापने की प्रिटिंग लागत के साथ -साथ, मूवमेंट लागत कम हो जाएगी।
  2. अगर इसका इस्तेमाल सफल रहा है तो कुल लेन-देन में डिजिटल करंसी की बड़ी हिस्सेदारी हो जाएगी। और उससे निश्चित तौर पर सरकार के खर्च में बड़ी कमी आएगी।
  3. डिजिटल करंसी के इस्तेमाल से मॉनिटरिंग हो सकेगी जिससे आतंकवाद और आपराधिक गतिविधियों की फंडिंग पर भी नकेल कसी जा सकेगी।
डिजिटल रुपया कैसे काम करेगा? (How Will the Digital Rupee Work?)

डिजिटल रुपया को पहले चरण (पायलट प्रोजेक्ट) में चार बैंकों – स्टेट बैंक ऑफ इंडिया (SBI), यस बैंक, ICICI बैंक और IDFC फर्स्ट बैंक द्वारा जारी की जाएगी। उपयोगकर्ता इनमें से किसी भी बैंक से डिजिटल रुपया प्राप्त कर सकते हैं और लेनदेन के लिए इसका इस्तेमाल कर सकते हैं। इसके लिए उपयोगकर्ता को एक डिजिटल वॉलेट (जैसा कि हमारे पास क्रिप्टोकरंसी के लिए है) दिया जाएगा. जो ऑनलाइन काम करेगा. जिसे आप डिजिटल रुपये का उपयोग करने के लिए अपने फोन पर डाउनलोड कर सकते हैं और इसका इस्तेमाल कर सकते हैं.

डिजिटल रुपये (Digital Rupee) का उपयोग करके, आप अपने दोस्त या रिलेटिव (व्यक्ति-से-व्यक्ति) को पैसे भेज सकते हैं या फिर किसी भी बिल (व्यक्ति-से-व्यापारी) का भुगतान कर सकते हैं। व्यापारियों को भुगतान करने के लिए, आप क्यूआर कोड के माध्यम से भी भुगतान कर सकते हैं। जैसे आप अभी UPI का इस्तेमाल कर करते हैं.

क्या Digital Rupee Physical Rupees के बराबर ही होगा?

हां, Digital Rupees आपके physical rupees के बराबर ही होगा. आपको अपने डिजिटल रुपये पर कोई ब्याज नहीं मिलेगा। साथ ही, भौतिक नकदी की तरह, आपके पास हमेशा इसे विभिन्न रूपों में बदलने का विकल्प होगा. डिजिटल रुपये को आप अपने अनुसार बचत खाते में स्थानांतरण कर सकते हैं. बैंक जमा खोलना, आदि में इस्तेमाल कर सकते हैं.

LEAVE A REPLY

Please enter your comment!
Please enter your name here